Has the Indian governmental system responded adequately to the demands of Liberalization, Privatization and Globalization started in 1991? What can the government do to be responsive to this important change? (GS 2)
क्या भारतीय सरकारी तंत्र ने 1991 में शुरू हुए उदारीकरण , निजीकरण और वैश्वीकरण की माँगो के प्रति पर्याप्त रूप से अनुक्रिया की है ? इस महत्त्वपूर्ण परिवर्तन के प्रति अनुक्रियाशील होने के लिए सरकार क्या कर सकती है ?